एमडीए-आईडीए कार्यक्रम का शुभ उदघाटन उपायुक्त महोदय के निर्देशानुसार
जागता झारखंड दुमका ब्यूरो। दुमका में फाइलेरिया विलोपन कार्यक्रम के तहत एमडीए-आईडीए कार्यक्रम का शुभ उदघाटन उपायुक्त महोदय के निर्देशानुसार दुमका जिला के सिविल सर्जन डॉ कमलेश्वर प्रसाद के द्वारा रसिकपुर में जनसमुदाय के समक्ष दीप प्रज्वलित कर किया गया। जहां मंच पर मंचाधीन उपर मुख्य चिकित्सा पदाधिकारी डॉ मंटू टेकरीवाल, जिला मलेरिया पदाधिकारी डॉ मो० जावेद उपस्थित थे। सिविल सर्जन के द्वारा फाइलेरिया बीमारी ओर इस कार्यक्रम के बारे में विस्तार पूर्वक बताया गया।फाइलेरिया यानी हाथीपांव एक बहुत ही खतरनाक बीमारी है यह दुनिया में विकलांगता का दूसरा सबसे बड़ा कारण है यह बीमारी मादा संक्रमित क्यूलेक्स मच्छर के काटने से फैलती है इसके परजीवी बिना किसी लक्षण के भी आपके शरीर में लंबे समय तक रह सकते हैं और संक्रमित व्यक्ति स्वस्थ दिखते हुए भी इस रोग को दूसरे लोगों तक फैला सकते हैं इस बीमारी का इलाज तो नहीं लेकिन बचाव संभव है साल में एक बार एमडीए-आईडीए अभियान के दौरान फाइलेरिया से बचाव की दवा खाकर इस बीमारी से बचा जा सकता है हमारे जिले में 10 से 25 अगस्त 2025 तक एमडीए-आईडीए अभियान चलाया जाएगा। सिविल सर्जन के द्वारा दुमका जिलावासियों से अनुरोध किया गया कि अभियान के दौरान फाइलेरिया से बचाव की दवा खाएं एवं अपने परिवार के सभी लोगों को दवा खिलाना सुनिश्चित करें याद रहे कि यह दवा 2 वर्ष से छोटे बच्चों, गर्भवती महिलाओं एवं गंभीर रूप से बीमार लोगों को छोड़कर बाकी सभी को यह दवा खानी है स्वास्थ्य कार्यकर्ता के द्वारा 10 अगस्त को बूथ पर एवं 11 अगस्त से 25 अगस्त तक घर-घर जाकर यह दवा खिलाएगी। आप सभी उनके सामने ही यह दवा जरूर खाएं ।
दुमका जिला में कुल लक्षित आबादी 16,83715 लोगों को फाइलेरिया रोधी दवा खिलाने का लक्ष्य रखा गया है जिसके लिए कुल 2833 दवा प्रशासकों का टीम बनाया गया है जो 2900 जगहों पर 10 अगस्त को बूथ लगाकर लोगों को फाइलेरिया रोधी दवा का सेवन कराएंगे एवं शेष छूटे हुए लोगों को 11 अगस्त से 25 अगस्त के बीच स्वास्थ्य कर्मी द्वारा घर घर जाकर यह दवा का सेवन अपने सामने कराएंगे| जिसके लिए 373 सुपरवाइजर इस फाइलेरिया विलोपन कार्यक्रम (एमडीए-आईडीए 2025) का सुपरविजन करेंगे एवं उनके माध्यम से प्रत्येक दिन शाम में रिपोर्ट कलेक्ट कर प्रखंड/जिला भेजा जाएगा| यह कार्यक्रम दुमका जिला के शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्रों को मिलाकर कुल 2706 गांव में दवा खिलाने का लक्ष्य रखा गया है|
जिला में कुल अभी तक फाइलेरिया यानी लिंफोडीमा के मरीज 5378 एवं हाइड्रोसील से ग्रसित मरीजों की संख्या 1356 है, जिसमें से 893 हाइड्रोसील से ग्रसित मरीजों का सर्जरी कराकर ठीक किया जा चुका है। ये सारी जानकारी सिविल सर्जन के द्वारा दिया गया। साथ ही जिला से जिला भीबीडी कंसल्टेंट, मलेरिया इंस्पेक्टर, पिरामल फाउंडेशन से संजय, मनोज, इंद्रदेव एवं अर्बन से सुदामा, जिला मलेरिया कार्यलय से ऋषि, प्रदीप, सुमित, संजय, संजीव, दुबे जी आदि उपस्थित थे। आपका सहयोग प्रयास हमारा फाइलेरिया मुक्त हो दुमका हमारा।
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